रउरे नमवा नन्दकुमार गोबर्धनधारी ए हरी
रउरे नमवा नन्दकुमार गोबर्धनधारी ए हरी
रउरे हईं किसन मुरारी रास बिहारी ए हरी।।
रउरे हईं किसन मुरारी रास बिहारी ए हरी।।
राउर जनम भूमि हे केशव हउवे मथुराधाम
स्याम रंग बदरी से लेके हो गइनी घनस्याम
रउरे पार्थ सारथी मधुसूदन चक्रधारी ए हरी।
कंसारी गोबिंदा छलिया मोहन मदन मनोहर
मायापति माधव रउरा जी बनवारी मुरलीधर
कंसन असुरन के नास करीं असुरारी ए हरी।
यादवेन्द्र गिरधर गोपेश्वर योगिपति अघहारी
देवकी नंदन रास रचईया रउरा कुंज बिहारी
एक बेर भठयुग में पधारीं लीलाधारी ए हरी।
टिप्पणियाँ
एक टिप्पणी भेजें